बिजली संकट दूर करने को रेलवे ने संभाला मोर्चा, किल्लत वाले क्षेत्रों में जल्द कोयला पहुंचाने के लिए रद की कई यात्री ट्रेनें

बिजली संकट दूर करने को रेलवे ने संभाला मोर्चा, किल्लत वाले क्षेत्रों में जल्द कोयला पहुंचाने के लिए रद की कई यात्री ट्रेनें

बिजली संकट दूर करने को रेलवे ने संभाला मोर्चा

बिजली संकट दूर करने को रेलवे ने संभाला मोर्चा, किल्लत वाले क्षेत्रों में जल्द कोयला पहुंचाने के लिए

New Delhi :  देश में बिजली संकट की मार ट्रेन यात्रियों पर भी पड़ी है. कोयले से भरे रेलवे के रेक पावर प्लांट तक जल्द से जल्द पहुंचाने के लिए 670 ट्रेनों के फेरे कैंसिल कर दिये गये हैं. इन ट्रेनों में मेल, एक्सप्रेस और पैसेंजर गाड़ियां शामिल हैं. यह फैसला अभी 24 मई तक के लिए किया गया है. इतनी बड़ी संख्या में पैसेंजर और लंबी दूरी की मेल-एक्सप्रेस गाड़ियों के रद्द करने के फैसले पर लोगों में आक्रोश भी फैल गया है. कई राज्यों में इसके खिलाफ प्रदर्शन भी हुए हैं. लेकिन, रेलवे का कहना है कि उसके पास विकल्प नहीं है, क्योंकि देश में ब्लैक आउट की स्थिति नहीं पैदा होने दी जा सकती. जानकारी के मुताबिक बारिश के मौसम में भी बिजली उत्पादन केंद्रों में कोयले की किल्लत नहीं हो, इसके लिए मई-जून में भी कोयले की ढुलाई इसी तरह जारी रखने की तैयारी है.

कुल 533 कोयला रेक ड्यूटी पर लगाए गए

केंद्र सरकार ने कोयला वैगनों के लिए प्राथमिकता वाले मार्गों और उनके तेजी से आवागमन को सुनिश्चित करने के लिए इन ट्रेनों को रद्द करने का फैसला किया है. कुल 533 कोयला रेक ड्यूटी पर लगाए गए हैं. बिजली क्षेत्र के लिए 437 रेक कल लोड की गई थीं और इस क्षेत्र के लिए 16.20 लाख टन कोयला लोड किया गया है. केंद्रीय बिजली प्राधिकरण (सीईए) की ताजा रिपोर्ट के अनुसार देश के 147 ताप-विद्युत संयंत्रों के पास सामान्य से 24 फीसदी कम कोयले का स्टॉक ही मौजूद है. इन संयंत्रों के पास 57,033 हजार टन कोयले का स्टॉक होना चाहिए लेकिन उनके पास सिर्फ 13,912 हजार टन ही कोयला मौजूद है. इन संयंत्रों की कुल उत्पादन क्षमता 163 गीगावॉट है. देश के अधिकतर इलाकों में भीषण गर्मी की वजह से बिजली की मांग काफी बढ़ गई है. असल में देश में जितनी बिजली उत्पादित होती है, उसमें 70% में कोयले का ही इस्तेमाल होता है.

रोजाना लगभग 16 ट्रेनें की जा रही हैं कैंसिल

भयावह बिजली संकट के मद्देनजर बिजली उत्पादन केंद्रों तक कोयले की सप्लाई बनाए रखने के लिए भारतीय पिछले दो हफ्तों से लगातार मेल-एक्सप्रेस गाड़ियों समेत लगभग 16 यात्री ट्रेनों को रोजाना कैंसिल कर रहा है. देश के सबसे बड़े ट्रांसपोर्टर ने यह कदम इसलिए उठाया है, ताकि रेलवे ट्रैक का ज्यादा से ज्यादा कोयला रेक को पावर प्लांट तक पहुंचाने में इस्तेमाल किया जा सके. रेल मंत्रालय ने फिलहाल 24 मई तक इन ट्रेनों को कैंसिल करने की घोषणा की है, जिनमें बड़ी संख्या में लंबी दूरी की मेल और एक्सप्रेस गाड़ियां भी शामिल हैं.